नागर विमानन महानिदेशालय (डीजीसीए) के महानिदेशक विक्रम देव दत्त ने शनिवार को विमानन क्षेत्र में लैंगिक समानता और समावेशिता को बढ़ावा देने के लिए एक मजबूत ढांचे की घोषणा की। डीजीसीए एक नियामक निकाय है जो सुरक्षा मुद्दों, हवाई परिवहन सेवाओं और उड़ान योग्यता मानकों से जुड़ा है।
‘वीमेन इन एविएशन’ इंडिया के पुरस्कार समारोह को संबोधित करते हुए दत्त ने कहा, ‘हमने अपनी महिला अधिकारियों के सामने आने वाले दृष्टिकोण और चुनौतियों को समझने के लिए मंथन सत्र शुरू किए। इस आत्मनिरीक्षण ने चल रही उन विचार प्रक्रियाओं को जन्म दिया है, जिसमें अगले साल की शुरुआत में एक व्यापक ढांचे का अनावरण करने की योजना है जो केवल कागजी कार्रवाई और आधिकारिक परिपत्रों से परे है।’
निजी क्षेत्र में सकारात्मक बदलाव लाने में डीजीसीए की बड़ी भूमिका का जिक्र करते हुए दत्त ने विमानन समुदाय के सहयोग और सुझावों का स्वागत किया। उन्होंने कहा कि नई जमीन में प्रवेश करने के लिए सही कदम उठाने की जरूरत है और हम सामूहिक इनपुर के साथ अज्ञात क्षेत्र में जाने के लिए तैयार हैं।
डीजीसीए की यह रणनीतिक पहल भारतीय विमानन में लैंगिक समावेशिता की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम का संकेत देती है। नियामक, उद्योग के परिदृश्य को नया रूप देने के लिए ठोस उपायों को लागू करते हुए नेतृत्व करने के लिए तैयार है।
डीजीसीए ने विमानन क्षेत्र में लैंगिक समानता हासिल करने के लिए सुझाव देने के लिए चार सदस्यीय समिति का गठन किया है। समिति भारतीय विमानन क्षेत्र के भीतर लैंगिक समानता को बढ़ावा देने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम का प्रतिनिधित्व करेगी।
कार्यक्रम में बतौर मुख्य अतिथि पहुंचे केंद्रीय नागरिक उड्डयन मंत्रालय और सड़क, परिवहन और राजमार्ग मंत्रालय के राज्य मंत्री जनरल (सेवानिवृत्त) वीके सिंह ने यहां मौजूद लोगों को संबोधित करते हुए विमानन क्षेत्र में महिलाओं के प्रयासों की सराहना की।