ग्रेटर नोएडा। गलगोटियास विश्वविद्यालय ने किसानों के लिए मुफ्त मिट्टी परीक्षण सेवाओं की पेशकश की है। यह पहल “पारिस्थितिकी तंत्र बहाली” के वैश्विक विषय के प्रति हमारी प्रतिबद्धता का एक हिस्सा है। आवश्यक मृदा स्वास्थ्य अंतर्दृष्टि प्रदान करके, हमारा लक्ष्य किसानों को स्थायी कृषि पद्धतियों को अपनाने के लिए सशक्त बनाना है। जो हमारे पारिस्थितिक तंत्र के पुनरोद्धार में योगदान करते हैं।
गलगोटियास विश्वविद्यालय ने स्थानीय किसानों को इस पहल में भाग लेने के लिए आमंत्रित किया। साथ मिलकर, हम अपने पारिस्थितिकी तंत्र को बहाल करने और कृषि के लिए एक स्थायी भविष्य सुनिश्चित करने की दिशा में सार्थक कदम उठा सकते हैं। गलगोटिया विश्वविद्यालय के कृषि विद्यालय के मृदा वैज्ञानिक डॉ. विनीत कुमार और डॉ. प्रदीप त्रिपुरा को गौतमबुद्ध नगर के आसपास के गांवों जैसे फलैदा, कनारसा, रुबुपुरा और जुनैदपुर से परीक्षण के लिए अभी तक 40 नमूने प्राप्त हुए हैं। इस पहल की कृषक समुदाय द्वारा अत्यधिक सराहना की जा रही हैं।
गलगोटियास विश्वविद्यालय के सीईओ डॉ. ध्रुव गलगोटिया ने उल्लेख करते हुए कहा कि विश्वविद्यालय किसानों की महत्वपूर्ण भूमिका को पहचानता है जो हमारे पारिस्थितिक तंत्र के स्वास्थ्य को बनाए रखने में निभाते हैं। इस प्रकार, यह कार्यक्रम उन लोगों को धन्यवाद देने का हमारा तरीका है जो हमें खिलाने के लिए लगातार कठिन परिश्रम करते हैं।
विश्वविद्यालय के चॉसलर श्री सुनील गलगोटिया ने जोर देकर कहा कि गलगोटियास विश्वविद्यालय में, हम मानते हैं कि शिक्षा और सामुदायिक भागीदारी सकारात्मक परिवर्तन को प्रेरित करने की कुंजी हैं। हम अपने किसानों के साथ खड़े होने और उन्नत कृषि की दिशा में उनके प्रयासों का समर्थन करने पर गर्व महसूस करते हैं।