नई दिल्ली। आईएएस बनाने का भ्रामक दावा करने वाले कोचिंग संस्थानों पर केंद्र सरकार ने सख्ती बढ़ा दी है। केंद्रीय उपभोक्ता संरक्षण प्राधिकरण (सीसीपीए) ने खान स्टडी ग्रुप (केएसजी) पर पांच लाख रुपये जुर्माना लगाया है। उपभोक्ता अधिकारों की रक्षा करते हुए यह कार्रवाई भ्रामक विज्ञापन देने और अनुचित व्यापार व्यवहार के लिए की गई है।
खान स्टडी के खिलाफ कार्रवाई
खान स्टडी ने वर्ष 2022 में संघ लोक सेवा आयोग (यूपीएससी) की सिविल सेवा परीक्षा में चयनित कुल 933 अभ्यर्थियों में 682 को कोचिंग देने का दावा किया था। खान स्टडी का दिल्ली, पटना, इंदौर, भोपाल एवं जयपुर समेत कई शहरों में कई ब्रांच हैं। प्राधिकरण ने स्वत: संज्ञान लेते हुए 24 अक्टूबर को देश भर के 20 कोचिंग संस्थानों को नोटिस जारी कर जवाब मांगा था।
सीसीपीए की मुख्य आयुक्त निधि खरे एवं आयुक्त अनुपम मिश्रा ने खान स्टडी ग्रुप को ऐसे झूठे और भ्रामक दावों को तत्काल प्रभाव से रोकने का निर्देश दिया है। खान स्टडी ग्रुप ने अपने विज्ञापन में उत्तीर्ण छात्रों में 682 को अपना बताया था। इशिता किशोर समेत सभी टॉप-5 को भी अपने संस्थान का बताया था।
दावे को लेकर क्या बोला खान स्टडी?
साथ ही सामान्य अध्ययन एवं सीसैट की तैयारी कराने वाला सर्वश्रेष्ठ आईएएस कोचिंग संस्थान होने का दावा किया था। किंतु जांच में यह दावा भ्रामक पाया गया। प्राधिकरण के नोटिस के जवाब में संस्थान ने अपनी सफाई में कहा कि विज्ञापन में दिखाए गए 682 सफल छात्रों में 674 ने उनके यहां माक इंटरव्यू दिया जो निशुल्क है। किंतु जांच में पाया गया कि अलग-अलग वर्षों में सिर्फ आठ छात्रों ने अतिरिक्त पाठ्यक्रमों के लिए मार्गदर्शन लिया।
स्पष्ट है कि संस्थान ने कमाई बढ़ाने के लिए छात्रों के साथ छल किया। लिखित परीक्षा में उत्तीर्ण छात्र निशुल्क माक इंटरव्यू कई संस्थानों में देते हैं। ऐसे में कोई एक संस्थान इन सभी पर संपूर्ण दावेदारी नहीं कर सकता है, जबकि खान स्टडी ग्रुप ने विज्ञापन में उनकी तस्वीरों को प्रमुखता से लगाकर उनकी सफलता का पूरा श्रेय लेने का प्रयास किया।
विज्ञापन में सच्ची जानकारी की कमी
निधि खरे ने बताया कि खान स्टडी के विज्ञापन को भ्रामक एवं कपटपूर्ण तब नहीं माना जाता, जब सेवाओं की उपयोगिता को बढ़ा-चढ़ाकर पेश करके उपभोक्ताओं को गुमराह नहीं किया जाता। विज्ञापन में तथ्यों की सच्ची और ईमानदार जानकारी देनी चाहिए थी।
प्रत्येक वर्ष सिविल सेवा परीक्षा के नतीजे आने पर विभिन्न कोचिंग संस्थान सफल उम्मीदवारों को अपने छात्र होने का दावा करते हुए विज्ञापन जारी करते हैं। कोचिंग संस्थान संभावित उम्मीदवारों को प्रभावित करने के लिए टॉपर्स और सफल उम्मीदवारों की तस्वीरों और नामों का उपयोग करते हैं किंतु फीस और पाठ्यक्रम की अवधि के बारे में नहीं बताते।
यूपीएससी परीक्षा 2022 के लिए कुल 11,35,697 आवेदन आए थे। इंटरव्यू के लिए 2,529 का चयन हुआ था। इनमें 933 ने अंतिम तौर पर सफलता पाई थी। खान स्टडी ग्रुप ने सिर्फ उन्हें मॉक इंटरव्यू के लिए आमंत्रित किया था, जिन्होंने प्रारंभिक और मुख्य परीक्षा उत्तीर्ण कर ली थी। इस प्रकार विज्ञापन में उपभोक्ता के सूचित होने के अधिकार का उल्लंघन किया गया।