बहजोई थाने की पुलिस ने बुधवार को नाबालिग लड़कियों की खरीद फरोख्त करना वाला गिरोह पकड़ा है। गिरोह में शामिल पति-पत्नी समेत चार आरोपियों से पीड़ित लड़की भी मुक्त कराई गई है। जिसका आरोपी सौदा कर चुके थे। पुलिस का दावा है कि आरोपी लड़कियों को काम दिलाने के बहाने दिल्ली और हरियाणा से लेकर यहां ऐसे लोगों को बेच देते थे, जिनकी शादी नहीं हो रही है या फिर उसकी पत्नी की मृत्यु हो चुकी है। जिनसे आरोपी मोटी रकम भी वसूलते थे।
लोगों से मोटी रकम भी वसूलते थे आरोपी
एसपी संभल कुलदीप सिंह गुनावत ने गिरोह का खुलासा करते हुए बताया कि गिरोह के सदस्य नाबालिग लड़की को दिल्ली रेलवे स्टेशन से बहला फुसलाकर लाए थे। बुधवार को बहजोई थाना क्षेत्र के कैलादेवी चौराहे पर उसकी सौदेबाजी की जा रही थी। इसी दौरान पुलिस एक महिला समेत चार आरोपी गिरफ्तार कर लिया, जबकि दो आरोपी पुलिस को चकमा देकर भाग गए। नाबालिग लड़की को बाल संरक्षण समिति को सौंप दिया गया है।
दूसरे राज्यों की नाबालिग लड़कियां भी निशाने पर
इसके अलावा पीड़ित के परिवार को सूचना दी गई है। पुलिस अधीक्षक ने बताया कि यह गिरोह आसपास के जिलों के अलावा दूसरे राज्यों की नाबालिग लड़कियों की खरीद फरोख्त करता है। पकड़े गए आरोपियों में बदायूं जनपद के थाना जरीफ नगर अंतर्गत गांव बस्तोई निवासी कप्तान सिंह, उसकी पत्नी विनीता, जुनावई थाना क्षेत्र के गांव लतीफपुर धीर निवासी रामअतार उर्फ औतारी, कैलादेवी थाना क्षेत्र के गांव चंदनकटी निवासी श्रीपाल शामिल हैं, जबकि फरार आरोपियों में श्रीपाल का बेटा काली उर्फ कालिया और राकेश नाम का युवक शामिल है। पुलिस अधीक्षक ने बताया कि आरोपियों की तलाश की जा रही है।
ज्यादा कीमत में लड़की बेचता है श्रीपाल
बुधवार को गिरफ्तार के बाद पुलिस को आरोपी कप्तान सिंह ने बताया कि वह चंदनकटी निवासी श्रीपाल नाबालिग लड़की को 20 हजार रुपये में बेच रहा था। श्रीपाल इस लड़की को किसी अन्य व्यक्ति को दोगुनी या उससे भी ज्यादा कीमत में बेच देता। इस सौदेबाजी से स्पष्ट है कि यह गिरोह लंबे समय से इस तस्करी में शामिल है।
पिछले साल भी मचा था मानव तस्करी का शोर
20 दिसंबर 2022 की रात को श्रीपाल के घर पर एक लड़की ने शोर मचाया था कि आरोपी श्रीपाल उसको बेच रहा है, जबकि वह काम दिलाने के बहाने से हरियाणा से लेकर आया है। जबकि लड़की ने शोर मचाया तो श्रीपाल और उसके परिवार का एक अन्य सदस्य बाइक पर जबरन बैठाकर ले गए थे। ग्रामीणों ने बहजोई थाने में सूचना दी थी और सोशल मीडिया पर भी मानव तस्करी करने की चर्चा रही थी।
एक साल पहले ऑडियो हुआ था वायरल
उस समय एक ऑडियो भी वायरल हुआ था। जिसमें इस बात का जिक्र था कि श्रीपाल किसी लड़की को लेकर आया था लेकिन अब वह अपने घर जाना चाहती थी। पुलिस ने उस समय श्रीपाल और गांव किरारी निवासी एक दंपती से पूछताछ की थी। लेकिन यह कार्रवाई आगे नहीं बढ़ी। उस समय यह मामला दब गया था। अब आरोपी श्रीपाल तस्करी के आरोप में गिरफ्तार हुआ है।
पुलिस इस गिरोह का नेटवर्क खंगालने में जुटी
इस गिरोह के सदस्य लंबे समय से इस धंधे को कर रहे हैं। पुलिस गिरोह के नेटवर्क को खंगालने में जुट गई है। मौके से फरार हुए दो आरोपी अब तक पुलिस के हाथ नहीं चढ़े हैं। आरोपियों को रिमांड पर लेकर पूछताछ की जाए तो इस गिरोह के हाथों शिकार हुईं अन्य लड़कियां भी अपने परिवार में वापस जा सकती हैं।
तलाकशुदा महिलाओं को भी गांव में लाया
आरोपी संभल के अलावा अन्य जिलों में भी नाबालिग लड़कियों की तस्करी करते हैं। आरोपी श्रीपाल के गांव से मिली जानकारी के अनुसार श्रीपाल नाबालिग के अलावा तलाकशुदा और विधवा महिलाओं को भी गांव में कई बार लाया है। अब माना जा रहा है कि यह उन्हें भी तस्करी के लिए ही लाया होगा।
वर्षों से सक्रिय है तस्करी करने वाली गिरोह
जिले में यह तस्करी का खेल लंबे समय से चल रहा है। अधेड़ और बुजुर्ग और ऐसे लोगों को लड़कियां बेचती जाती हैं। जिनकी पत्नी की मौत हो गई है या फिर उनकी शादी नहीं हो रही है। आरोपी इन लड़कियों को काम दिलाने और शादी कराने का झांसा देते थे। आरोपियों के चंगुल में आकर कई लड़कियों का जीवन बरबाद हो चुका है।
मामले में छानबीन लगातार जारी
नाबालिग लड़की को बेचने की सूचना पर पुलिस पहुंची थी। मौके से एक महिला समेत चार आरोपी गिरफ्तार किए गए हैं। दो आरोपी मौके से भाग गए हैं। उनकी तलाश की जा रही है। नाबालिग लड़की के परिजनों को सूचना दे दी गई है। इस मामले में छानबीन आगे की जा रही है। यह अंतरराज्यीय गिरोह है। इसमें शामिल सभी आरोपी गिरफ्तार किए जाएंगे। – कुलदीप सिंह गुनावत, पुलिस अधीक्षक, संभल।